एएसआई भी रखेगा पिस्टल
बंदूक की जगह लेगी एके-47
चूरू, 20 नवम्बर। शातिर अपराधियों का सामना करने, बेकाबू भीड़ को नियंत्रित करने और आतंकी घटनाओं से निपटने के लिए पुलिस के हाथ पहले से अधिक मजबूत हो गए हैं। चूरू जिला पुलिस के पास अत्याधुनिक हथियारों की पहली खेप पहुंच चुकी है। इनमें एके-47 और ऑटोमैटिक रायफल्स शामिल हैं। अगली खेप जल्द ही पहुंचने की उम्मीद है। पुलिस प्रशासन ने उपलब्ध आधुनिक हथियारों का सिपाहियों और अधिकारियों को प्रशिक्षण दिलाना शुरू कर दिया है। सब कुछ योजनानुसार हुआ तो जिले की पुलिस को साधन, संसाधनों की दृष्टि से अपराधियों के सामने हताश नहीं होना पड़ेगा। बेहतरीन संसाधनों के रहते पुलिस का इकबाल आने वाले कल में और बुलन्द होगा।
हर एएसआई रखेगा पिस्टल
हथियारों की संख्या में इजाफा होने के बाद प्रत्येक एएसआई 9-एमएम की पिस्टल रख सकेगा। फिलहाल पुलिस उप निरीक्षक से लेकर जिला पुलिस अधीक्षक तक की रैंक के अधिकारियों के पास ही 9-एमएम की पिस्टल उपलब्ध हैं। वर्तमान में जिले में करीब एक सौ सहायक पुलिस उप निरीक्षक तैनात हैं।
यूं होगा फायदा
शातिर अपराधियों से मुकाबला करने और जन आंदोलन के दौरान उग्र भीड़ को नियंत्रित करने में नए हथियार पुलिस के लिए काफी मददगार होंगे। वाटर केनन से भीड़ पर तेजी से पानी डाला जा सकेगा तो व्रज वाहन से आंसू गैस के गोले धड़ाधड़ छोड़े जा सकेंगे। स्टन ग्रेनेड और रबड़ बुलैट भीड़ व अपराधियों को बेहोश करने में काम आएंगे। नए हथियार उन परिस्थितियों में अधिक कारगर साबित होंगे जहां पुलिस फायरिंग की नौबत आ जाती है या जहां दो गुटों में टकराव के कारण जनहानी होने की आशंका अधिक रहती है।
ये पहुंच चुके हैं
तथ्यात्मक जानकारी के अनुसार जिला पुलिस के पास अब तक एके-47, एसएलआर रायफल्स, फायबर ग्लास की लाठी, ढाल, हैलमेट व जैकेट पहुंच चुके हैं। इनका प्रशिक्षण भी दिया जाने लगा है।
ये खरीदे जा रहे हैं
छोटे बोर के हथियार इनमें 9-एमएम की पिस्टल व रबर बुलैट शामिल है।
इनका भेजा प्रस्ताव
स्टन ग्रेनेड, वाटर केनन और अग्निवर्षा मय वज्र वाहन।
----
पुलिस का इकबाल हर हाल में बुलन्द है और रहेगा। शांति एवं कानून व्यवस्था बनाए रखने और आंतकी घटनाओं से निपटने के लिए हथियारों की संख्या बढ़ाई जा रही है। कई आधुनिक हथियार पहुंच चुके हैं। नफरी को नए हथियारों का प्रशिक्षण भी दिया जा रहा है।
-निसार अहमद फारुकी, पुलिस अधीक्षक, चूरू
प्रस्तुतकर्ता विश्वनाथ सैनी
प्रतिक्रियाएँ:
1 टिप्पणियाँ:
RAJNISH PARIHAR said...
pulis inka pryog aatm raksha me hi kare....
November 21, 2009 10:03 AM
बंदूक की जगह लेगी एके-47
चूरू, 20 नवम्बर। शातिर अपराधियों का सामना करने, बेकाबू भीड़ को नियंत्रित करने और आतंकी घटनाओं से निपटने के लिए पुलिस के हाथ पहले से अधिक मजबूत हो गए हैं। चूरू जिला पुलिस के पास अत्याधुनिक हथियारों की पहली खेप पहुंच चुकी है। इनमें एके-47 और ऑटोमैटिक रायफल्स शामिल हैं। अगली खेप जल्द ही पहुंचने की उम्मीद है। पुलिस प्रशासन ने उपलब्ध आधुनिक हथियारों का सिपाहियों और अधिकारियों को प्रशिक्षण दिलाना शुरू कर दिया है। सब कुछ योजनानुसार हुआ तो जिले की पुलिस को साधन, संसाधनों की दृष्टि से अपराधियों के सामने हताश नहीं होना पड़ेगा। बेहतरीन संसाधनों के रहते पुलिस का इकबाल आने वाले कल में और बुलन्द होगा।
हर एएसआई रखेगा पिस्टल
हथियारों की संख्या में इजाफा होने के बाद प्रत्येक एएसआई 9-एमएम की पिस्टल रख सकेगा। फिलहाल पुलिस उप निरीक्षक से लेकर जिला पुलिस अधीक्षक तक की रैंक के अधिकारियों के पास ही 9-एमएम की पिस्टल उपलब्ध हैं। वर्तमान में जिले में करीब एक सौ सहायक पुलिस उप निरीक्षक तैनात हैं।
यूं होगा फायदा
शातिर अपराधियों से मुकाबला करने और जन आंदोलन के दौरान उग्र भीड़ को नियंत्रित करने में नए हथियार पुलिस के लिए काफी मददगार होंगे। वाटर केनन से भीड़ पर तेजी से पानी डाला जा सकेगा तो व्रज वाहन से आंसू गैस के गोले धड़ाधड़ छोड़े जा सकेंगे। स्टन ग्रेनेड और रबड़ बुलैट भीड़ व अपराधियों को बेहोश करने में काम आएंगे। नए हथियार उन परिस्थितियों में अधिक कारगर साबित होंगे जहां पुलिस फायरिंग की नौबत आ जाती है या जहां दो गुटों में टकराव के कारण जनहानी होने की आशंका अधिक रहती है।
ये पहुंच चुके हैं
तथ्यात्मक जानकारी के अनुसार जिला पुलिस के पास अब तक एके-47, एसएलआर रायफल्स, फायबर ग्लास की लाठी, ढाल, हैलमेट व जैकेट पहुंच चुके हैं। इनका प्रशिक्षण भी दिया जाने लगा है।
ये खरीदे जा रहे हैं
छोटे बोर के हथियार इनमें 9-एमएम की पिस्टल व रबर बुलैट शामिल है।
इनका भेजा प्रस्ताव
स्टन ग्रेनेड, वाटर केनन और अग्निवर्षा मय वज्र वाहन।
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पुलिस का इकबाल हर हाल में बुलन्द है और रहेगा। शांति एवं कानून व्यवस्था बनाए रखने और आंतकी घटनाओं से निपटने के लिए हथियारों की संख्या बढ़ाई जा रही है। कई आधुनिक हथियार पहुंच चुके हैं। नफरी को नए हथियारों का प्रशिक्षण भी दिया जा रहा है।
-निसार अहमद फारुकी, पुलिस अधीक्षक, चूरू
प्रस्तुतकर्ता विश्वनाथ सैनी
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RAJNISH PARIHAR said...
pulis inka pryog aatm raksha me hi kare....
November 21, 2009 10:03 AM
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